हाथियों के आंतक से महुआडांड़ के दर्जनों गांव में दहशत, सर्द रात में घर छोड़ स्कूल भवन और मैदान में शरण लेने को मजबूर ग्रामीण
सोनू खान /महुआडांड
लातेहार : जिले के प्रखंड महुआडांड़ अंतर्गत सोहर और नेतरहाट पंचायत में हाथियों के डर से सैकड़ो परिवार रात में घर छोड़कर दूसरी जगह शरण लेने को मजबूर हैं।

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वन विभाग हाथियों को भगाने में नाकाम
नेतरहाट व सोहर पंचायत अंतर्गत हुरमुण्डा टोली, हुसंबू, ढोड़ीकोना, माईल हाड़ीबार, पकरीपाठ, केराखाड़, आराहंस, सिरसी, आइगू समेत दर्जनो गावों के लोग अपने-अपने घरों को छोड़कर सड़क और नजदीक सरकारी भवनों एवं खुले आसमान नीचे ठंड में शरण लेने को मजबूर है। ग्रामीणों का आरोप है कि वन विभाग हाथियों को भगाने की दिशा में ठोस प्रयास नहीं कर रहा है।
स्कूल और खुले आसमान के नीचे काट रहे रात
नेतरहाट के गांव हुरमुण्डा टोली के लगभग 150 परिवार अपने घरों को छोड़कर पिछ्ले तीन दिनों से छोटे-छोटे बच्चे को लेकर प्राथमिक विद्यालय हुरमुण्डा टोली में शरण लिये हुए हैं। कुछ तो खुले आसमान नीचे मैदान में रात बिता रहे हैं। अन्य गांव के ग्रामीण सड़क किनारे जगह-जगह पर आलाव जलाकर रतजगा कर गांव की रखवाली कर रहे हैं।
ग्रामीणों के पास पर्याप्त भोजन नहीं
हुरमुण्डा टोली के सुशील मुण्डा, सतीश मुण्डा एवं परमेश्वर खुसर ने कहा कि पूरा गांव तीन दिनो से घर छोड़कर स्कूल भवन में रात बिता रहा हैं। बच्चों को ठंड में बहुत कष्ट हो रही है। हमारे पास खाने के लिए पर्याप्त भोजन या कपड़े भी नही हैं। वही वन विभाग या जनप्रतिनिधि भी खोज खबर नही ले रहे हैं। हमे कोई व्यवस्था नही दिया जा रहा है।
क्या कहते हैं महुआडांड़ के उप प्रमुख
इस संबंध में महुआडांड़ के उप प्रमुख अभय मिंंज ने कहा कि हाथियों का झुंड उत्पाद मचा रहा है, जान भी जा रही है। वन विभाग हाथियों को भगाने में पूरी तरह असफल है। वन विभाग हाथी को भगाने के बजाय ग्रामीणों के बीच केवल पटाखा व जला मोबिल वितरण कर मुआवज़ा का आश्वासन दे रहा है। जबकि लोग भूखे प्यासे घर छोड़कर बाहर ठंड में डरे सहमे रात जागकर बिता रहे हैं। वन प्रक्षेत्र के रेंजर वृंदा पांडेय को चाहिए कि प्रभावित लोगों के भोजन का इंतजाम करें।